केंद्रीय कैबिनेट ने लड़कियों की शादी की उम्र (Women Marriage Age in India) बढ़ाने वाले एक विधेयक को मंजूरी दे दी है। इस विधेयक को अगर कानूनी मंजूरी मिल जाती है तो जल्द ही लड़कियों की शादी की न्यूनतम उम्र 18 साल से बढ़ाकर 21 साल हो जाएगी। पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने 15 अगस्त को लाल किले से अपने भाषण में इसपर अपनी मंशा जाहिर की थी। इस विधेयक को जल्द ही संसद में पेश किया जाएगा और लड़कियों की शादी की उम्र बढ़ाने के लिए बाल विवाह कानून में संशोधन किया जाएगा। आइए जानते हैं दुनिया के अन्य देशों में लड़के-लड़कियों की शादी की उम्र क्या है.
विवाह से जुड़े कानूनों में संशोधन करेगी सरकार
सरकार इस कानून को लागू करने के लिए मौजूदा कानून में संशोधन करने वाली है. बता दें कि 15 अगस्त 2020 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले से इसका उल्लेख अपने संबोधन में किया थी. उन्होंने कहा था कि कुपोषण से बचाने के लिए जरूरी है कि बेटियों की शादी उचित समय पर हो.
Women Marriage Age in India: दुनिया के अलग अलग देश में शादी उम्र
देश | महिला | पुरुष | Source Year |
अमेरिका | 18 | 18 | 2011 (अलग-अलग राज्य में अलग उम्र) |
ब्रिटेन | 18 | 18 | 2011 |
ऑस्ट्रेलिया | 18 | 18 | 2011 |
बांग्लादेश | 18 | 21 | 2004 |
ब्राजील | 18 | 18 | 2011 |
कनाडा | 18 | 18 | 2011 |
चीन | 20 | 22 | 2011 (अलग-अलग राज्यों समुदायों में ये उम्र सीमा अलग हो सकती है) |
इजरायल | 17 | 17 | 2011 |
इटली | 18 | 18 | 2011 |
जापान | 20 | 20 | 2011 |
म्यांमार | 20 | 20 | 2011 |
नेपाल | 20 | 20 | 2011 |
नीदरलैंड | 18 | 18 | 2011 |
न्यूजीलैंड | 18 | 18 | 2011 |
पाकिस्तान | 16 | 18 | 2013 |
रूस | 18 | 18 | 2011 |
सिंगापुर | 21 | 21 | 2011 |
दक्षिण अफ्रीका | 21 | 21 | 2011 |
स्विट्जरलैंड | 18 | 18 | 2011 |
फ्रांस | 18 | 18 | 2011 |
21 साल होगी बेटियों की शादी की उम्र
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने पिछले साल 15 अगस्त को लाल किले (Red Fort) से अपने संबोधन में बेटियों की शादी की उम्र 21 साल करने का उल्लेख किया था. अब सरकार ने अपनी बात पर अमल कर दिया है. उन्होंने कहा था कि बेटियों को कुपोषण से बचाने के लिए ये जरुरी है कि उनकी शादी सही समय पर हो. फिलहाल मौजूदा समय में जो कानून है उसके मुताबिक, देश में पुरुषों का शादी 21 साल की उम्र में हो सकती हैं, वहीं लड़कियों की शादी 18 साल है.
Women Marriage Age in India: क्यों जरूरी है 21 में लड़कियों की शादी?
फरीदाबाद में फोर्टिस अस्पताल की डॉ. इंदू तनेजा का कहना है कि इससे टीनएज मैरिज बंद होगी. प्रेगनेंसी की एज भी 21 के बाद ही होगी. टीनएज प्रेगन्नेंसी को बहुत हाई रिस्क प्रेगनेंसी मानते हैं. जैसा कि मदर का हाई ब्लड प्रेशर होता है. जिसमें मां और बच्चा दोनों पर बुरा असर पड़ता है. एनिमिया होता है. ब्लीडिंग ज्यादा होता है. ये कॉम्पलिकेशन कम हो जाएंगे.
Women Marriage Age in India: सरकार ने दी मंजूरी
अब सरकार देश की लड़कियों को सशक्त करने के लिए उनकी शादी की उम्र बढ़ाने का फैसला लिया है. सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि कैबिनेट में मिली मंजूरी के बाद सरकार बाल विवाह निषेध अधिनियम 2006 (The Prohibition of Child Marriage Act, 2006 ), विशेष मैरिज एक्ट (Special Marriage Act, 1954) और हिंदू विवाह अधिनियम 1955 (The Hindu Marriage Act, 1955) जैसी एक्ट में संशोधन किया गया है. मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक सरकार मैटरनल मोर्टेलिटी रेट में कमी लाना चाहती है. कहा जा रहा कि बेटियों की शादी 21 साल की उम्र में करने से उनकी अपनी पढ़ाई और डेवलपमेंट का भी मौका मिलेगा.
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कानून मंत्री का बयान
आपको बता दें, उत्तर प्रदेश की सरकार आज यानी 16 दिसंबर को अपना अनुपूरक बजट पेश करेगी. इसी पर कानून मंत्री बृजेश पाठक से बातचीत हुई तो उन्होंने बताया कि सरकार सभी वर्गों का ध्यान रखते हुए इस बजट को ला रही है. इसके साथ-साथ उन्होंने महिलाओं के विवाह की उम्र 18 से 21 किए जाने के फैसले को काफी सराहनीय बताया.
इससे पहले 1978 में हुआ विवाह कानून में संशोधन
टास्क फोर्स ने शादी की उम्र समान 21 साल रखने को लेकर 4 कानूनों में संशोधनों की सिफारिश की है. युवतियों की न्यूनतम उम्र में आखिरी बदलाव 1978 में किया गया था और इसके लिए शारदा एक्ट 1929 में परिवर्तन कर उम्र 15 से 18 की गई थी. आपको ये भी बता दें कि भारत के जनगणना महापंजीयक के मुताबिक देश में 18 से 21 साल के बीच विवाह करने वाली युवतियों की संख्या करीब 16 करोड़ है.
Women Marriage Age in India: कमेटी की रिपोर्ट में क्या है?
जया जेटली की अध्यक्षता में बनी एक टास्क फोर्स ने सरकार को अपनी रिपोर्ट दी है. ये सिफारिशें दिसंबर 2020 में की गई थीं. महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की ओर से जून 2020 में ये टास्क फोर्स बनाई गई थी, जिसमें नीति आयोग के सदस्यों को भी शामिल किया गया था. इसी टास्क फोर्स की सिफारिश है कि लड़की की शादी की उम्र 18 से बढ़ाकर 21 साल कर देनी चाहिए. क्योंकि छोटी उम्र में लड़कियों को प्रेगनेंसी में समस्याएं होती हैं, मातृ मृत्यु दर बढ़ने की आशंका रहती है, पोषण के स्तर में भी सुधार की जरूरत होती है, टीनएज में लड़की अपने फैसले भी नहीं ले पाती, छोटी उम्र में शादी का असर लड़कियों की पढ़ाई पर भी पड़ता है.
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बाल विवाह से कितना नुकसान हुआ?
आपको जानकर हैरानी होगी कि बाल विवाह से देश को 3.49 लाख करोड़ रुपये का नुकसान होता है. देश में अभी भी 23.3 फीसदी महिलाओं की शादी 18 से कम उम्र में होती है. 15 से 19 साल के बीच में 6.8 फीसदी महिलाएं या तो गर्भवती हैं या मां बन चुकी हैं. बाल विवाह रोकने के अलावा लड़कियों का स्कूल ड्रॉप आउट रेट भी कम होगा क्योंकि अभी कम उम्र में शादी की वजह से लड़कियों को स्कूल छोड़ना पड़ता है.